यूपी में खत्म हुआ बिजली कर्मचारियों का हड़ताल, इतने महीने के लिए टला निजीकरण का प्रस्ताव, काम पर लौटें विद्युत कर्मचारी


जनसंदेश न्यूज़
लखनऊ। यूपी में पूर्वांचल विद्युत वितरण निगम को निजी हाथों में सौंपे जाने के सरकार के फैसले के खिलाफ बिजली कर्मचारियों की हड़ताल खत्म हो गई। सरकार व बिजली कर्मचारियों के बीच हुई सकारात्मक वार्ता के बाद निजीकरण के प्रस्ताव को तीन महीने के लिए टाल दिया गया। 


बिजली कर्मचारियों की हड़ताल से मचे हाहाकार को देखते हुए सरकार ने  निजीकरण का फैसला फिलहाल तीन महीने के लिए टाल दिया है। इसके साथ ही कर्मचारियों ने अपनी हड़ताल खत्म कर दी। सूचना के मुताबिक इन तीनों में कोई ना कोई समाधान ढूंढ़ लिया जायेगा। 


बताया जा रहा है कि सरकार और बिजली कर्मचारी संयुक्त परिषद के बीच पांच बिंदुओं पर सहमति बनी है। तय हुआ है कि फिलहाल बिजली विभाग का निजीकरण नहीं होगा। यदि कभी निजीकरण हुआ तो पहले बिजली विभाग के इंजीनियरों और कर्मचारियों की सहमति ली जाएगी। इसके अलावा अगले 15 जनवरी 2021 तक लगातार समीक्षा होगी। 


इसके साथ ही विभाग में भ्रष्टाचार खत्म करने, राजस्व वसूली बढ़ाने और बिलिंग सिस्टम को दुरुस्त करने में भी बिजली कर्मचारी संयुक्त परिषद अपनी भूमिका निभाएगा। इस बिंदुओं पर सहमति बनने के बाद बिजली कर्मचारी संयुक्त परिषद ने हड़ताल खत्म की घोषणा की। इसके बाद सभी कर्मचारी काम पर लौट गए। 


आपको बता दें कि निजीकरण के खिलाफ बिजली कर्मचारियों द्वारा कार्य बहिष्कार का आज दूसरा दिन था। बिजली कर्मचारियों ने सरकार को अनिश्चितकालीन हड़ताल और जेल भरो आंदोलन की चेतावनी भी दी थी। बताया जा रहा है कि सोमवार को ही ऊर्जा मंत्री श्रीकांत शर्मा की ओर से समझौते का प्रस्ताव रखा गया था लेकिन यूपीपीसीएल के चेयरमैन ने समझौता पत्र पर हस्ताक्षर इनकार कर दिया था। 



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