दुर्जनपुर हत्याकांड का मुख्य आरोपी लखनऊ से गिरफ्तार, जानिए कैसे पकड़ा गया इनामी अपराधी
योगी सरकार की हो रही किरकिरी, बैरिया के विधायक को मुख्यमंत्री ने किया तलब
वाराणसी। बलिया के दुर्जनपुर हत्याकांड के मुख्य आरोपी और 75 हजार के इनामी
धीरेंद्र प्रताप सिंह को एसटीएफ ने रविवार को लखनऊ के जनेश्वर मिश्र पार्क के पास
से गिरफ्तार कर लिया। माना जा रहा है कि अभियुक्त की गिरफ्तारी कहीं और से की गई और
दिखाया गया पार्क में। इस हत्याकांड में वांछित अभियुक्त संतोष यादव और अमरजीत यादव
को पुलिस ने शनिवार को गिरफ्तार कर लिया था। इस बीच मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने
बैरिया के विधायक सुरेंद्र सिंह को लखनऊ तलब किया है। इस घटना में विधायक का नाम आने
की वजह से सरकार की जमकर किरकिरी हो रही है।
सूत्र बताते हैं कि पुलिस धीरेंद्र से पूछताछ कर रही है। इस बीच बलिया पुलिस भी
लखनऊ के लिए रवाना हो गई है। उसे वारंट बी के जरिए बलिया लाया जाएगा। रिमांड में
लेकर उससे पूछताछ की जाएगी। भाजपा कार्यकर्ता धीरेंद्र की गिरफ्तारी के लिए बलिया, मऊ और आजमगढ़ की क्राइम ब्रांच के साथ ही पुलिस की 12 टीमें लगी हुई थीं। सूत्र
बताते हैं कि सियासी शह मिलने की वजह से उसे बलिया में नहीं पकड़ा जा सका।
धीरेंद्र एसटीएफ को गच्चा नहीं दे पाया। सर्विलांस और मुखबिरों की सटीक सूचना
की मदद से उसे गिरफ्तार कर लिया गया। हत्याकांड में अब तक आठ नामजद और करीब 25
अज्ञात आरोपियों में से सिर्फ नौ को ही गिरफ्तार किया जा सका है। आजमगढ़
के डीआईजी सुभाषचंद
दुबे ने बताया कि आरोपियों पर
एनएसए, गुंडा एक्ट और गैंगेस्टर के तहत कार्रवाई की जाएगी। उनकी संपत्ति भी जब्त की
जाएगी।
उल्लेखनीय है कि रेवती थाना क्षेत्र
के दुर्जनपुर गांव के पंचायत भवन में गुरुवार को टेंट लगाकर हनुमानगंज और
दुर्जनपुर की कोटे की दुकानों के चयन के लिए दोपहर बाद लगभग साढ़े तीन बजे खुली
बैठक की जा रही थी। दुर्जनपुर की दुकान के लिए मां शायर जगदंबा और शिव शक्ति स्वयं
सहायता समूह के बीच मतदान की नौबत आ गई। इस पर एसडीएम सुरेश कुमार पाल, सीओ चंद्रकेश सिंह और एसओ प्रवीण कुमार सिंह ने व्यवस्था बनाई कि जिसके पास
आधार कार्ड अथवा अन्य कोई पहचान पत्र होगा, वही वोट कर
पाएगा। एक पक्ष के लोग आधार कार्ड लेकर आए थे। दूसरे पक्ष के लोगों के पास पहचान
पत्र नहीं था। इसी बात पर हंगामा हो गया। स्थिति बिगड़ते देख बीडीओ बैरिया गजेंद्र
प्रताप सिंह ने बैठक की कार्यवाही स्थगित कर दी। इसके बाद दोनों पक्षों में तकरार और
नारेबाजी शुरू हो गई। देखते ही देखते ईंट-पत्थर चलने लगे। प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, इस दौरान
धीरेंद्र ने फायरिंग कर दी। इसमें दुर्जनपुर निवासी जयप्रकाश पाल (45) को चार
गोलियां लगीं। लोगों ने जयप्रकाश को सीएचसी सोनबरसा पहुंचाया, जहां चिकित्सकों ने मृत घोषित कर दिया। इस घटना में नरेंद्र सिंह(45), आराधना सिंह (45), आशा सिंह (40), राजेंद्र सिंह (45), अजय सिंह (50)
और धर्मेंद्र सिंह (40) गंभीर रूप से घायल हो गए। शासन के निर्देश पर एसडीएम, सीओ के अलावा मौके पर मौजूद 11 पुलिसकर्मियों को निलंबित किया जा चुका है।