बजट के अभाव में पूर्ण नहीं हुआ ‘केपीआई’, नीति आयोग के सीईओ अमिताभ कांत ने की मॉडल ब्लॉक सेवापुरी की समीक्षा
- टार्गेट में पिछड़े महकमों के अधिकारियों को दी 15 नवंबर तक की अंतिम टाइम लाइन
- विकास खंड के लोगों में व्यवहार परिवर्तन को गठित दल हो जाएं और अधिक सक्रिय
- जल संरक्षण के कार्यों के लिए पंजाब व हरि याणा का फील्ड विजिट कराने का सुझाव
- नवंबर के प्रथम सप्ताह में संयुक्त सचिवों के साथ फिर आएंगे मुख्य कार्यकारी अधिकारी
- प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के सामने किया जाएगा मॉडल ब्लॉक का पावर प्वॉइंट प्रेजेंटेशन
सुरोजीत चैटर्जी
वाराणसी। सेवापुरी विकास खंड को देश का पहला मॉडल ब्लॉक बनाने के लिए तय किये गये लक्ष्य बजट के अभाव में निर्धारित टाइम लाइन में पूर्ण नहीं हो सके हैं। ‘की परफॉमेंस इंडीकेटर’ यानी केपीआई की स्थित स्थिति को देखते हुए नीति आयोग ने अब विकास खंड के अधूरे कार्यों को हर हाल में 15 नवंबर तक पूर्ण करने की अंतिम टाइम लाइन दी है। उस माह के प्रथम सप्ताह में आयोग के सीईओ अमिताभ कांत भारत सकार के उन सभी विभागों के संयुक्त सचिवों के साथ दौरे पर आएंगे जिन महकमों से जुड़े कार्य सेवापुरी में कराए जा रहे हैं। नवंबर माह में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के सामने पावर प्वॉइंट प्रेजेंटेशन के जरिये बताएंगे कि इस विकास खंड को किस प्रकार और किस स्तर पर मॉडल ब्लॉक बनाया गया है।
आयोग के मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीईओ) अमिताभ कांत ने गुरुवार को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिये बुलायी गयी मॉडल ब्लॉक विषयक समीक्षा बैठक में यह बात कही गयी। मीटिंग में डीएम कौशल राज शर्मा के अलावा उन विभागों के अधिकारी शामिल थे जिनका ‘केपीआई’ अन्य विभागों की तुलना में फिलहाल कम है। उनमें स्वास्थ्य, शिक्षा, पंचायत राज, कृषि, बाल विकास एवं पुष्टाहार आदि विभाग के अफसर रहे।
इस दौरान महकमों के अधिकारियों ने बताया कि सेवापुरी विकास खंड में संबंधित विकास कार्य के लिए बाद में जारी किये गये विशेष बजट प्राप्त होने के बाद कार्य कराये जा रहे हैं। इस कारण निर्धारित समय में टार्गेट हासिल नहीं हो सका। सीईओ ने स्वास्थ्य विभाग की योजनाओं के प्रचार-प्रसार, आयुष्मान स्कीम में गोल्डेन कार्ड, आईसीडीएम में महिला व बच्चों की सेहत और पोषण तत्व समेत अन्य विभागों के कार्यों के बारे में जनजागरूकता बढ़ाने के उद्देश्य गठित सेवादलों को अपेक्षाकृत और सक्रिय करने और उसका अनुश्रवण करने को कहा।
उन्होंने खासतौर पर मॉडल ब्लॉक के लोगों के व्यवहार में परिवर्तन लाने पर जोर दिया। ताकि सरकारी योजनाओं समेत जनहित में संचालित स्कीमों में ग्रामीण न सिर्फ हिस्सा लें बल्कि निर्मित कार्यों को संरक्षित और सुरक्षित भी रखें। बच्चे हर हाल में स्कूल जाएं। आंगनबाड़ी और स्वास्थ्य केंद्र सुचारु रूप से संचालित हों। स्वच्छता पर गंभीरतापूर्वक ध्यान दिया जाय। शुद्ध पेयजल मिले और जलसंरक्षण आदि के प्रति लोग सजग रहें। गांवों में जल संरक्षण आदि के लिए की जाने वाली पहल की उचित ट्रेनिंग लेने के लिए उन्होंने वाराणसी से संबंधित लोगों का दल फील्ड विजिट के उद्देश्य से पंजाब और हरियाणा भेजने का सुझाव भी दिया।
अमिताभ कांत ने आगामी नवंबर माह के प्रथम सप्ताह में भारत सरकार के संबंधित विभागों के संयुक्त सचिवों के साथ सेवापुरी विकास खंड के दौरे पर आने की मंशा जतायी। वहीं, यह संकेत भी दिये कि नवंबर में ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के समक्ष मॉडल ब्लॉक सेवापुरी के बारे में पावर प्वॉइंट प्रेजेंटेशन भी किया जाएगा।