नितेश हत्याकांड के कातिलों का नहीं मिल रहा सुराग 



घटना ने दो महीने बाद भी पुलिस के हाथ खाली 
संदिग्धों के स्केच जारी कर 20 हजार का इनाम नाकाम 
रवि सिंह 
वाराणसी। शिवपुर थाना क्षेत्र के तहसील में 30 सितंबर को हुए बस संचालक नितेश उर्फ बबलू सिंह का मर्डर पहेली बनता जा रहा है। घटना के बीते लगभग दो महीने बाद भी हत्यारे पकड़ से दूर हैं।  15 दिसंबर को एसएसपी के निर्देश पर संदिग्धों का स्केच जारी हुआ था। बताने वाले को 20 हजार का इनाम और नाम पता गोपनीय रखने की बात कही गई थी। लेकिन ये प्रयास भी बेहसर साबित हुआ। 
 30 सितंबर को दिनदहाड़े बदमाशों ने तहसील परिसर में  ताबड़तोड़ गोली मार कर  बबलू की हत्या कर दी थी। इसके बाद जांच में जुटी पुलिस अभी तक कातिलों का सुराग तक नहीं लगा पायी है। अधिकारिक रुप से पुलिस घटना का रहस्योघाटन भी नहीं कर सकी। कि आखिर मर्डर के पीछे की कहानी क्या है।
सूत्रों की माने तो सारनाथ थाना क्षेत्र के लोहिया नगर निवासी नितेश सिंह के कई गैंग से संबंध थे। अपराधियों को संरक्षण देने के साथ उनकी मदद करना इनका काम था। इसके चलते नितेश सिंह के सम्पर्क में कई बड़े अपराधी थे। बनारस में वर्षों पहले डा.डीपी सिंह का मर्डर हुआ था और इस चर्चित हत्याकांड में नितेश सिंह को आरोपी बनाया गया था बाद में वह कोर्ट से बरी हो गये थे। 
पेशेवर शूटरों ने दिया था घटना को अंजाम
नितेश सिंह तहसील आये थे और कुछ काम करके अपनी कार में बैठ रहे थे इसी बीच शूटरों ने ताबड़तोड़ गोली चला कर उनकी हत्या कर दी थी। गोली मारने के बाद शूटर तुरंत चले गये थे और कुछ दूरी पर जाने के बाद फिर वापस आये थे। शूटरों को लगा था कि नितेश की जान अभी नहीं गयी है इसलिए वापस आकर फिर से गोली मारी थी और असलहा लहराते हुए फरार हो गये थे। 


 


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