कोतवाल के दरबार में अधिकारी भी चढ़ाते हैं उधारी का माला

दुकानदारों से लेते है माला-फूल प्रसाद,नही देते उसका मूल्य 



विक्रेताओं की विवशता
जनसंदेश न्यूज
वाराणसी। जिनके दरबार में बगैर हाजिरी लगाये शहर के प्रशासनिक अधिकारी अपना कार्यभार ग्रहण नही करते, उन्ही के दरबार में अधिकारियों व वीवीआईपी की ओर से चढ़ाया जाने वाला माला-फूल प्रसाद उधारी का लाया जाता है। जिसका मूल्य एक या दो रुपया नही बल्कि हजारों रुपये में होता है। 
जी हां, हम बात कर रहें हैं काशी के कोतवाल बाबा काल भैरव के मंदिर में अधिकारियों की ओर से चढ़ाये जाने वाले माला फूल प्रसाद का। बुधवार को ऐसे कई दुकारदारों का दर्द छलक उठा जो वीवीआईपी की उधारी का शिकार हो गये हैं। काल भैरव मंदिर के पहले माला-फूल, तेल, गंडा व प्रसाद की दुकान लगाने वाले सोनू सैनी बताते हैं कि बाबा के दरबार में आने वाले वीवीआईपी को स्थानीय प्रशासन की ओर से मंदिर के आस-पास के दुकानों से पूजन योग्य सामग्री उपलब्ध करायी जाती है। अधिकारी होने के चलते बड़े स्तर पर पूजन योग्य वस्तुएं ली जातीं हैं, जिनका मूल्य करीब एक हजार रुपये तक होता है। लेकिन इन सभी वस्तुओं का मूल्य दिया नही जाता। यह एक दिन का नही बल्कि रोजाना का काम है। नाम न छापने की शर्त पर एक माली ने बताया कि मंगलवार को राज्यपाल व उनके साथ आये 12 लोगों के लिए करीब आठ सौ रुपये के पूजन योग्य वस्तुओं को खरीदा गया और बाबा को अर्पण कर सभी चले गये। स्थानीय प्रशासन की ओर से भुगतान का आश्वासन दिया गया लेकिन अब तक किसी भी प्रकार का भुगतान नही किया गया जिससे सभी विक्रेताओं में रोष है।  इसके अतिरिक्त अन्य वीवीआईपी की ओर से भी चढ़ावा चढ़ाया जाता है लेकिन भुगतान नही किया जाता । 


 


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